- राजा और हाथी से सावधान रहो, हाथी चलते-चलते और राजा हंसते-हंसते ही मारता है।
- अपनी प्रशंसा चाहने वाले लोगों से दूर रहो, उन्हें सुझाव भी मत दो।
- शक्तिशाली से डरना नहीं चाहिये, बल्कि उससे मुकाबला करने के लिये साहस इकट्ठा करना चाहिये।
- कही जा रही बातों को संक्षेप में नोट करें।
- निन्दा करने से बचने का एक ही तरीका है कि त्रुटियां ढूंढना छोड़ दो।
- ज्यादातार लोग गलत जगह पर गलत काम करते हैं और असफलता हाथ लगने पर भाग्य को कोसते रहते हैं।
- मानवता के नाते हम सभी का दायित्व है कि हम जहॉं कहीं भी पीड़ित व दीन-दुखियों को देखें तो उनकी यथोचित सहायता करें।
- जो व्यक्ति वाणी से ईमानदार नहीं, वह किसी भी काम में ईमानदार नहीं हो सकता।
- अगर समय रहते कदम उठाये जाएं तो किसी भी सम्भावित बड़ी दुर्घटना से बचा जा सकता है।
- आप जितना अपनी चेतना से अपरिचित रहेंगे, उतनी ही आप में जीवटता की कमी होगी।
- जीवन में आगे बढने के लिये जरूरी है कि छोटी-छोटी बातों की ओर ध्यान दिये बगैर बड़ा सोचें और इन बातों का बुरा न मानें।
- कभी-कभी व्यक्ति अपने अहंकार एवं विद्वता के मद में चूर होकर यह भूल जाता है कि ज्ञान अनन्त है और उसकी पूर्णता की कोई सीमा नहीं है।
- अच्छे संकल्प करो, ताकि अच्छे मार्ग पर चलना सम्भव हो सके।
- कुछ लोग किसी की थोड़ी सी मदद करके बार-बार उसका अहसास दिलाते रहते हैं। इससे उनके अहंकार को तो सन्तुष्टि मिल जाती है, लेकिन ऐसे में की गयी मदद की महत्ता घट जाती है। ऐसे लोगों से मदद प्राप्त करना आत्महत्या करने के समान है।
- यदि अतीत को ही याद करते रहेंगे तो वर्तमान में जीना कठिन लगेगा और भविष्य अत्यन्त ही मुश्किल प्रतीत होगा।
स्त्रोत : प्रेसपालिका, 01-16 मई, 2013
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